Bumrah–Bavuma ‘Bauna’ विवाद खत्म: मैच के बाद स्पीडस्टर ने समझाया

एडन गार्डन्स टेस्ट में चौंके विवाद के बाद बुमराह ने बावुमा को समझाया—दोनों ने हाथ मिलाकर मामला निपटाया।

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Bumrah-Bavuma विवाद खत्म, मैच बाद सुलझा मामला

भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच कोलकाता टेस्ट में “बौना” टिप्पणी को लेकर पैदा हुआ विवाद आखिरकार खत्म हो गया। मैच समाप्त होते ही जसप्रीत बुमराह खुद कप्तान टेंबा बावुमा के पास पहुंचे और अपनी बात साफ की। दोनों खिलाड़ियों ने हाथ मिलाकर मामला शांत किया, जबकि सोशल मीडिया पर यह वाकया काफी गरमाया हुआ था।

मुख्य तथ्य

  • पहले दिन स्टंप माइक में “बौना भी है” सुनाई दिया, जिसे बावुमा पर तंज माना गया।
  • टिप्पणी के वायरल होने के बाद दक्षिण अफ्रीका के कोच ऐशवेल प्रिंस समेत कई लोगों ने प्रतिक्रिया दी।
  • मैच खत्म होते ही बुमराह दौड़कर बावुमा के पास गए और बात समझाई।
  • बातचीत सुलझने के बाद दोनों खिलाड़ियों ने एक-दूसरे से हाथ मिलाया।
  • दक्षिण अफ्रीका ने 123 रन का लक्ष्य डिफेंड कर भारत को 30 रन से हराया।

भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच कोलकाता के ईडन गार्डन्स में खेला गया पहला टेस्ट रोमांचक मोड़ पर समाप्त हुआ, लेकिन मैच जितना यादगार रहा, उससे ज्यादा चर्चा में रहा जसप्रीत बुमराह और टेंबा बावुमा के बीच पैदा हुआ “बौना” विवाद। पहले दिन की एक LBW अपील के दौरान स्टंप माइक में कैद हुई बातचीत ने सोशल मीडिया पर तूफान ला दिया था।

14वें ओवर में जब बुमराह और विकेटकीपर ऋषभ पंत एक संभावित DRS पर चर्चा कर रहे थे, उसी दौरान माइक्रोफोन में “बौना भी है” जैसा वाक्य सुनाई दिया। कई दर्शकों ने इसे दक्षिण अफ्रीका के कप्तान बावुमा की ऊंचाई पर की गई टिप्पणी के रूप में लिया।

यह शब्द हिंदी में आम तौर पर किसी बहुत छोटे कद वाले व्यक्ति के लिए प्रयोग किया जाता है, और अक्सर यह एक असंवेदनशील टिप्पणी माना जाता है। कुछ ही घंटों में यह क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हो गई और क्रिकेट जगत के चर्चित चेहरों तक पहुंच गई—जिनमें दक्षिण अफ्रीका के बल्लेबाजी कोच ऐशवेल प्रिंस भी शामिल थे। यह साफ था कि बावुमा भी इस टिप्पणी से अवगत थे।

मैच के बाद बुमराह ने खुद किया विवाद का अंत

हालात बिगड़ते देख बुमराह ने खुद पहल की। रविवार को मैच समाप्त होते ही उन्होंने मैदान पर ही बावुमा की ओर दौड़कर उनसे बातचीत शुरू की। कैमरे में साफ दिखा कि बुमराह ने कप्तान के कंधे पर हाथ रखा और अपनी बात समझाई। बावुमा भी शांत मन से उनकी बात सुनते नजर आए।

कुछ मिनट की बातचीत के बाद दोनों खिलाड़ियों ने हाथ मिलाकर मामले को खत्म कर दिया। यह पल कई क्रिकेट प्रशंसकों के लिए राहत भरा था, क्योंकि विवाद का स्वरूप बढ़ता जा रहा था।

दक्षिण अफ्रीका की ऐतिहासिक जीत

विवाद से परे, यह मैच दक्षिण अफ्रीका की एक यादगार जीत के रूप में दर्ज हुआ। महज 123 रन का लक्ष्य देने के बावजूद प्रोटियाज गेंदबाजों ने भारतीय बल्लेबाजों को जूझने पर मजबूर कर दिया।

साइमन हार्मर ने दूसरी पारी में चार विकेट हासिल किए, जबकि भारतीय बल्लेबाजी ताश के पत्तों की तरह बिखर गई। सिर्फ वाशिंगटन सुंदर ही 31 रन बनाकर थोड़ी देर तक संघर्ष करते दिखे।

दक्षिण अफ्रीका के कप्तान टेंबा बावुमा ने भी शानदार जिम्मेदारी निभाई। तीसरे दिन उनकी नाबाद 55 रन की पारी ने टीम को सम्मानजनक बढ़त दिलाई और भारत के सामने 124 का लक्ष्य रखा। यही पारी इस टेस्ट की इकलौती हाफ-सेंचुरी भी रही।

अंतिम पलों में अक्षर पटेल ने केशव महाराज के एक ओवर में 16 रन लेकर मैच को रोमांचक बनाया, लेकिन उसी ओवर में आउट होकर सारी उम्मीदें खत्म कर दीं। अगली गेंद पर मोहम्मद सिराज भी बिना खाता खोले आउट हो गए और दक्षिण अफ्रीका ने 30 रन से जीत दर्ज कर ली।

भारत की चोटों से जूझती टीम

गौरतलब है कि शुभमन गिल पहली पारी में चोटिल हुए और BCCI ने पुष्टि की कि वह दूसरी पारी में बल्लेबाजी नहीं कर पाएंगे। इसने भारत की बल्लेबाजी को और कमजोर कर दिया, जिसका असर अंतिम नतीजे पर साफ दिखा।

विवाद और हार के बावजूद मैच के अंत में बुमराह और बावुमा का गर्मजोशी भरा हावभाव खेल की असली भावना—स्पोर्ट्समैनशिप—को सामने लाता है।

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