मोदी 75 पर: सेंसेक्स-निफ्टी 240% उछले

पीएम नरेंद्र मोदी के 11 साल के कार्यकाल में भारतीय शेयर बाजार ने ऐतिहासिक बढ़त दर्ज की, छोटे और मिडकैप शेयर बने असली विजेता।

newsdaynight
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मोदी 75 पर: सेंसेक्स-निफ्टी 240% उछले

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज 75 साल के हो गए हैं। 2014 से अब तक उनके नेतृत्व में भारतीय शेयर बाजार ने रिकॉर्ड तोड़े हैं। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ने 240% से अधिक की बढ़त दर्ज की, जबकि स्मॉलकैप्स और मिडकैप्स ने निवेशकों को बेहतरीन रिटर्न दिए।

मुख्य तथ्य

  • 2014 से अब तक निफ्टी 7,360 से बढ़कर 25,100+ और सेंसेक्स 24,690 से 82,000+ हुआ।
  • निफ्टी और सेंसेक्स ने अमेरिका के डॉव जोन्स को पछाड़ा।
  • बीएसई स्मॉलकैप इंडेक्स 491% और मिडकैप 435% उछले।
  • इंफ्रास्ट्रक्चर, ऑटो और आईटी सेक्टर ने शानदार रिटर्न दिए।
  • FY26 बजट में 11 लाख करोड़ रुपये कैपेक्स के लिए आवंटित।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अपने 75वें जन्मदिन पर एक और उपलब्धि देखी — भारतीय शेयर बाजार का सुनहरा दौर। 2014 में जब मोदी ने पहली बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली थी, तब निवेशकों की उम्मीदें सुधारों को लेकर ऊँची थीं। लेकिन बीते 11 सालों में बाजार का प्रदर्शन उम्मीदों से कहीं अधिक निकला।

सेंसेक्स और निफ्टी ने लगभग चार गुना छलांग लगाई। मई 2014 में निफ्टी 7,360 के आसपास था, जो सितंबर 2025 तक बढ़कर 25,100 से ऊपर पहुंच गया। इसी तरह सेंसेक्स 24,690 से चढ़कर 82,000 अंक पार कर गया। यानी दोनों प्रमुख इंडेक्स ने 235–240% का रिटर्न दिया।

असल कहानी हालांकि स्मॉलकैप्स और मिडकैप्स की रही। बीएसई स्मॉलकैप इंडेक्स ने 491% और मिडकैप ने 435% की छलांग लगाई। इसका मतलब है कि सिर्फ बड़ी कंपनियों ही नहीं, बल्कि व्यापक बाजार ने निवेशकों के लिए अपार संपत्ति बनाई। तुलना में अमेरिकी डॉव जोन्स केवल 175% और एसएंडपी 500 करीब 244% बढ़े।

मोदी सरकार की नीतियाँ, जैसे जीएसटी, दिवाला एवं शोधन प्रक्रिया (IBC), पीएसयू बैंकों का रिकैपिटलाइजेशन, और डिजिटल डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर ने निवेशकों का विश्वास मजबूत किया। इसके साथ ही सरकार के कैपेक्स पर जोर देने से रेलवे, रक्षा और इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों में तेजी आई। FY26 बजट में 11.11 लाख करोड़ रुपये (GDP का 3.4%) पूंजीगत खर्च के लिए आवंटित किए गए हैं।

सेक्टोरल प्रदर्शन भी अहम रहा। निफ्टी ऑटो ने 316% की बढ़त दर्ज की, जबकि निफ्टी आईटी 300% चढ़ा। निफ्टी एनर्जी और CPSE इंडेक्स ने भी अच्छे रिटर्न दिए। वहीं बैंकिंग सेक्टर में सुधार के बाद निफ्टी बैंक 259% उछला।

अब बड़ा सवाल है कि क्या सेंसेक्स अगले चार साल में 1 लाख अंक तक पहुंच सकता है? विशेषज्ञों का मानना है कि कॉरपोरेट कमाई में 10–12% की सालाना वृद्धि और स्थिर वैश्विक हालात के चलते यह लक्ष्य मोदी के मौजूदा कार्यकाल में हासिल किया जा सकता है। हालांकि कच्चे तेल की कीमतों और वैश्विक मंदी जैसी चुनौतियाँ भी बनी रहेंगी।

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