पंजाब बाढ़: मौत का आंकड़ा 43, हर गांव में अफसर तैनात

मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बाढ़ प्रभावित हर गांव में गज़टेड अफसर की तैनाती का आदेश दिया, जबकि सीएम केजरीवाल ने राहत कार्यों के लिए केंद्र से मदद मांगी।

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पंजाब बाढ़ में 43 मौतें, हर गांव में अफसर तैनात

पंजाब में बाढ़ का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है। गुरुवार को छह और लोगों की मौत के साथ अब तक 43 लोगों की जान जा चुकी है। मुख्यमंत्री भगवंत मान ने हर बाढ़ग्रस्त गांव में गज़टेड अफसर तैनात करने का आदेश दिया है ताकि राहत और बचाव कार्य तेज़ी से आगे बढ़ सकें।

मुख्य तथ्य

  • अब तक 43 लोगों की मौत, तीन लापता; 23 जिलों के 1,902 गांव प्रभावित।
  • सीएम मान ने हर गांव में गज़टेड अफसर तैनात करने का निर्देश दिया।
  • अरविंद केजरीवाल ने सुल्तानपुर लोधी में प्रभावित किसानों से मुलाकात की।
  • किसान नेताओं ने नुकसान की सही भरपाई और प्राकृतिक धारा को बनाए रखने की मांग की।
  • गवर्नर गुलाब चंद कटारिया ने होशियारपुर के राहत कैंपों का दौरा किया।

पंजाब इस समय गंभीर बाढ़ की चपेट में है। गुरुवार को छह और लोगों की मौत के साथ राज्य में मरने वालों की संख्या 43 तक पहुंच गई है। तीन लोग अब भी लापता बताए जा रहे हैं। राज्य सरकार ने पुष्टि की है कि बाढ़ से अब तक 23 जिलों के करीब 1,902 गांव प्रभावित हुए हैं, जिससे लगभग 3.84 लाख लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है।

मुख्यमंत्री भगवंत मान, जो फिलहाल स्वास्थ्य कारणों से प्रभावित क्षेत्रों का दौरा नहीं कर सके, ने राहत कार्यों की निगरानी के लिए हर गांव में गज़टेड अफसरों की तैनाती का आदेश दिया है। मान ने कहा, “इससे प्रशासन और प्रभावित लोगों के बीच सीधा संवाद होगा और उनकी समस्याओं का तुरंत समाधान हो सकेगा।”

दूसरी ओर, आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सुल्तानपुर लोधी (कपूरथला) के बाढ़ग्रस्त इलाकों का दौरा किया। उनके साथ राज्यसभा सांसद बलबीर सिंह सीचेवाल भी मौजूद थे। सीचेवाल ने किसानों और स्थानीय नेताओं को सीधे केजरीवाल से मिलवाया ताकि वे अपनी परेशानी खुद बयां कर सकें।

संगरा गांव में किसान नेता कुलदीप सिंह ने एक ज्ञापन सौंपा, जिसमें मांग की गई कि बीस नदी को कृत्रिम नहर में तब्दील करने के बजाय इसकी प्राकृतिक धारा को बहने दिया जाए। उन्होंने कहा कि “किसानों ने नदी की ज़मीन पर कब्ज़ा नहीं किया, बल्कि नदी ने खेतों को निगल लिया है।” साथ ही, उन्होंने सभी प्रभावित किसानों को वास्तविक नुकसान के आधार पर मुआवज़ा देने की मांग की, न कि सिर्फ पांच एकड़ की सीमा तक।

पंजाब बाढ़ संकट: अब तक 43 लोगों की मौत
पंजाब बाढ़ संकट: अब तक 43 लोगों की मौत

केजरीवाल ने भरोसा दिलाया कि यह ज्ञापन मुख्यमंत्री भगवंत मान तक पहुंचाया जाएगा। सीचेवाल ने सभी राजनीतिक दलों से अपील की कि इस आपदा का राजनीतिक फायदा उठाने से बचें और एनआरआई समुदाय से आग्रह किया कि वे किसानों को डीज़ल, बीज, खाद, कीटनाशक और आर्थिक मदद देकर सहयोग करें।

इसी बीच, पंजाब के राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया ने होशियारपुर जिले के टांडा क्षेत्र का दौरा किया। उन्होंने राहत शिविरों का जायज़ा लिया और ‘धुस्सी बंध’ की स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि “यह बाढ़ हाल के वर्षों में सबसे गंभीर है। 2023 में भी बाढ़ आई थी, लेकिन इस बार हालात और ज़्यादा विकट हैं।”

कैबिनेट मंत्री हरदीप सिंह मुंडियां ने बताया कि राज्य सरकार दिन-रात राहत और बचाव कार्यों में जुटी हुई है। विशेष “गिरदावरी” के ज़रिए किसानों और आम जनता के नुकसान का आकलन किया जा रहा है, ताकि जल्द से जल्द मुआवज़ा दिया जा सके।

SOURCES:Indian Express
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